top of page

दिनदिहाड़े चाचा ने मम्मी को चोद दिया - Desi Sex Story

हाय दोस्तो, आपका दोस्त प्रतीक आज आपके लिए एक मस्त Desi Sex Story लेकर हाजिर है.

मैं आशा करता हूँ कि आपको यह देवर भाभी चुदाई कहानी पसंद आएगी.


मैं चंद्रपुरा उतर प्रदेश के गामीण का रहने वाला हूँ.

अभी कॉलेज में पढ़ रहा हूँ.


मेरे घर में, पापा-मम्मी, चाची-चाचा रहते है.


मेरी मां की उम 41 साल है और उनका नाम नीतू है.

उनका फिगर 34-30-38 का है.


वे एक माल औरत हैं. वे एकदम कामुक किस्म की महिला हैं व दिखने में एकदम पटाखा लगती हैं.


वे दिन में बिल्कुल संस्कारी औरत की तरह रहती हैं और रात को जब पापा का लंड खाती हैं तो एकदम रंडी बन जाती हैं.

मेरे मुहल्ले के सभी लड़के और अंकल लोग उनके हुस्न के दीवाने हैं.


उनके आपस में चिपके हुए 34 साइज के संतरे देखकर किसी नपुंसक का भी लंड खड़ा हो जाए और गांड ऐसी कि हर लंड को चुम्बक की तरह अपनी तरफ खींचती जाए.

दूध जैसा सफेद अनोखा जिस्म और बल खाती गांड को घेरे हुए उनके 38 इंच के बड़े बड़े गोल चूतड़, जिस वक्त थिरकते हैं तो किसी के भी लंड का पानी निकल जाए.


ऊपर से लेकर नीचे तक का उनका जिस्म, बाप रे बाप एकदम मक्खन सा चिकना बदन था.

उनके बड़े बड़े चूतड़ होने के कारण साड़ी या सलवार के कपड़े उनकी गहरी गांड में फंसे होते हैं.


शायद मेरी मम्मी मेरे चोदू बाप से अपनी गांड बहुत ही ज्यादा मरवाती हैं.

मैंने आपको अपनी मॉम के बारे में इतना विस्तार से लिखा है, तब भी अब तक मैंने अपनी मॉम को कभी भी बुरी नजर से नहीं देखा था.


पर उस दिन के बाद से मेरी नीयत बिगड़ गई जब मैंने अपनी मॉम को नंगी नहाते हुए देखा.

उस दिन से मेरी तो जिन्दगी ही बदल गई.

मैंने अपनी मॉम को हर वक्त गंदी नजर से देखना शुरू कर दिया.


मैं पिछले एक साल से अपनी मां के जिस्म को देखने लगा था.

दिन रात उन्हें चोदने के सपने देखने लगा था.

लेकिन मेरा सपना सपना ही रहा, हकीकत नहीं बन पाया.


मेरी मॉम पूरी अंग्रेजन मेम सी गोरी हैं.

उनके गाल पर एक तिल है, जो उनकी खूबसूरती को चार चांद लगाता है.


मेरे चाचा का नाम अनिकेत है.

पेशे से वे सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं.

उनका कसरती बदन है. उनकी उम्र 36 साल की थी.

हम सभी लोग साथ में ही रहते हैं.


मैंने कई बार चाचा-चाची की सेक्स की आवाज सुनी.


निकिता चाची की ‘ओह्ह मां ओह्ह मां … उउ उहह आओउ … अअअ आआआ … ’ की गर्मागर्म चीखें मुझे साफ़ साफ़ सुनाई देती थीं तो मैं समझ जाता था कि कमरे के अन्दर चाची की चुदाई का काम चल रहा है.

चाचा चाची दोनों लंड चुत के मिलन के मजे लूट रहे हैं.


चाची की तेज तेज चीखें सुनकर मैं अपने अंडरिवयर में हाथ डाल देता था और लंड फेंटने में लग जाता था.

यह बात तब की है जब पापा अपने दोस्तों के साथ घूमने गए थे.


निकिता चाची अपने सहेली से मिलने हॉस्पिटल गयी थीं.

उनकी सहेली रितिका चलते चलते रास्ते में बेहोश हो गयी थी, वे हॉस्पिटल में भर्ती थीं.

मम्मी, चाचा और मैं घर में थे.


मैंने चाचा से कहा- मैं अपने दोस्तों के साथ घूमने जा रहा हूं, शाम को आऊंगा.

यह बोलकर मैं पीछे के रास्ते से छत पर पहुंच गया.

उस वक्त मम्मी नहा रही थीं.


मैं अपनी मम्मी की जवानी को नंगी देखने लगा.

वे बाथरूम का दरवाजा खुला छोड़ कर नहाने में लगी थीं.


दरवाजे के खुले होने से उधर से कमरे तक का नजारा साफ दिखता था.


तभी चाचा ने मौका का फायदा उठाया और वे पूरे नंगे होकर बाथरूम के अन्दर घुस गए.


चूंकि मैं मम्मी को छुप कर देख रहा था तो चाचा को अन्दर आते देख कर मैं सकपका गया कि यह क्या नई फिल्म देखने को मिल गई.


चाचा ने अन्दर आते ही पीछे से मेरी मम्मी के दूध दबा दिए.


अचानक हुए हमले को मम्मी शायद भांप नहीं पाईं और उन्होंने मुड़कर पीछे देखा.


उनके पीछे अनिकेत चाचा बोल पड़े- भाभी, तुम पहले से ज्यादा खबसूरत हो गयी हो. बहुत अच्छी लग रही हो. बड़ी हसीन हो तुम!

यह बोलकर चाचा जी ने मम्मी की चूचियों को हॉर्न के जैसे दबा दिया.


मम्मी ने मुस्करा कर कहा- बड़ी मक्खनबाजी कर रहे हो? बोलो क्या चाहिए तुम्हें?

चाचा बोले- जो चाहिए, वह दे दोगी भाभी जी?


मम्मी ने इठला कर कहा- हां क्यूँ नहीं दूंगी. तू मेरा देवर है, मैं तेरी भाभी हूँ. कुछ क्या … सब कुछ दे सकती हूँ, तू मांग कर तो देख!

चाचा अपना लंड हाथ से सहला रहे थे और मम्मी उनके लंबे मोटे लंड को देखे जा रही थीं.


वे समझ गयी थीं कि आज देवर भाभी की चुदाई करना चाह रहे हैं.

मम्मी की मोटी मोटी जांघें, बड़े बड़े चूतड़, बड़ी बड़ी चूचियां साफ़ साफ़ दिख रही थीं.


‘भाभी इसको शांत कर दो ना!’ चाचा ने अपने लंड की तरफ इशारा करते हुए मम्मी से कहा.


यह सुनते ही मम्मी बाथरूम के फर्श पर घुटनों के बल बैठ गईं और वे अपने प्यारे देवर का लंड पकड़ कर उसे सहलाने लगीं और सहसा उन्होंने चाचा का लंड अपने मुँह में भर लिया.


वे चाचा के लौड़े को मस्त रंडी की तरह चूसने लगी थीं.


चाचा ‘आह आह’ करते हुए किसी मस्त सांड की तरह मम्मी के सर को अपने भुजंग काले लंड को चुसवाए जा रहे थे.


मम्मी ने लंड को हाथ से फेंट फेंट कर और मुँह से चूस चूस कर चाचा को पागल कर दिया था.


इस मस्त देवर भाभी चुदाई ब्लू-फिल्म का लाइव टेलिकास्ट देख कर मैं भी अपना लंड पैंट से निकाल कर हिलाने लगा.


कुछ देर के बाद चाचा का वीर्य छूटने वाला था, उन्होंने मम्मी को लौड़े से हटाने की कोशिश की, पर मम्मी लंड को ज़ोर ज़ोर से चूस रही थीं इसलिए उन्होंने लंड चूसना बंद नहीं किया.

इसी बीच चाचा का लंड हार मान गया और वह छूटने लगा.


चाचा के लंड से छूटा वीर्य मम्मी के मुँह में चला गया जिसे मम्मी ने बड़े चाव से पी लिया.


मम्मी ने झड़े हुए लंड को लगातार चूसा तो चाचा के लौड़े में वापस जान आ गई और वह पुनः हिनहिनाने लगा.


उन दोनों के बीच वापस धींगा मुश्ती चलने लगी.


मम्मी बहुत ज्यादा गर्मा गयी थीं.

वे चाहती थीं कि उनका देवर उनको गालियां दे देकर चोदे, उन्हें पटक पटक कर चोदे.


‘इतनी मस्तानी चूत का क्या अचार डालोगी बुरचोदी नीतू भाभी!’

मम्मी- तो चोद दे न!

‘हां आज मैं तेरी चुत का हलवा बनाऊंगा. तेरी बहन की चुत … तू मां की लौड़ी, बड़ी चालू चीज है.’


नीतू- मुझे गालियां देकर चुदवाना अच्छा लगता है … जैसे तुम्हारे भैया मुझे चोदते हैं, गाली दे देकर वैसे ही चोदो.

चाचा- हाँ भाभी, मैंने भी आपकी आवाज बहुत बार सुनी है!


‘तो चोदो न!’

‘पहले चुत तो चाट लेने दो मेरी जान!’


यह सुनते ही मम्मी फर्श पर लेट गईं और अपनी दोनों टांगें फैला कर चुत खोल दी.


अब चाचा मम्मी की चौड़ी चूत चूस रहे थे. मम्मी गांड उठा उठा कर चाचा के मुँह में चुत देने की कोशिश कर रही थीं और चाचा भी लप लप करके चुत चूसने लगे.

मम्मी- आह … आह … ईई … आह … सी … आह … सी … ऊ … या … चूस लो … खा जाओ … ये निगोड़ी चूत बहुत परेशान करती है … इसका भरता बना दो आह आह … ईई … आह … सी … आह … सी… ऊ … या …!


इस तरह की कामुक आवाजें निकाल रही थीं.

वे 5 मिनट में झड़ गईं, अपनी भाभी की चुत का सारा पानी चाचा ने पी लिया.


फिर उन्होंने मम्मी को उठाया और बाहर ले आए … बाहर कमरे में आकर चाचा ने मम्मी को बिस्तर पर पटक दिया.

उनकी टांगें खोल कर अपना लंड उनकी खुली हुई चूत पर रख कर खूब रगड़ा.


मुझे यह सब साफ साफ दिख रहा था तो बड़ा अच्छा लग रहा था.

फिर चाचा ने पोजीशन बनाई और अचानक से गच से लंड पेल दिया.


उनका पूरा का पूरा लंड मेरी मम्मी की रसीली चुत में सरसराता हुआ अन्दर घुस गया.

मम्मी के मुँह से निकला- उई मां … मर गयी मैं … फट गई मेरी चूत आह चली गयी मेरी इज्जत. हाय दईया कितना मोटा है तेरा भोसड़ी का लंड बड़ा बेरहम है तू … एक ही बार में घुसेड़ दिया पूरा लंड!


चाचा ने उनकी चिल्लपौं पर कोई ध्यान नहीं दिया.

जब उन्होंने अपना लंड 10-12 बार अन्दर बाहर किया तो मम्मी के मुँह से निकलने लगा.


‘हाय रे … अब खूब घपाघप चोदो. मज़ा आने लगा है. पूरा पेल दो लंड. ये चूत चोदी चूत बहुत देर से लंड मांग रही थी. मैं तो देवर के लंड की दीवानी होती जा रही हूँ.’


मम्मी- तेरे लंड में बड़ी ताकत है.

चाचा- अरे नीतू भाभी, मैं गाँव का देहाती, भैंस कर शुद्ध पीता हूँ.


मम्मी ने कहा- मेरा भी दूध पियो मेरे देवर राजा, तेरा लंड और मोटा हो जाएगा.

चाचा मेरी मम्मी के दूध को दबा दबा कर पीने लगे.


मम्मी- थोड़ा धीरे से, दर्द हो रहा है!

चाचा- मैं आपकी चुत को फाड़ूँगा तो नहीं, पर गड्डा जरूर बना दूंगा.


मम्मी- अब चाहे मेरी चूत ही क्यों न फाड़ दो, लेकिन बस जल्दी से पेल दो.

चाचा ने झट से लंड पेल दिया.


‘उई मां फट गई मेरी चुत … बड़ा मोटा है तेरा लंड आह मादरचोद अपनी मां की चुत चोद कर साला और मोटा हो गया है!’

चाचा- आह … मेरी भौजी आआअह … आह और ले साली नीतू चुदक्कड़ आह ले मेरा लंड अपनी चूत में साली रांड कुतिया … रंडी की बच्ची आह तेरी मां चोद दूंगा साली!


मम्मी- कुत्ते मार इस हरामन चूत को साली बहुत तंग करती है.

“मैं भी तुझे छोड़ूँगा नहीं साली कुतिया, रंडी साली, रंडी की औलाद … आह आज तेरी भोसड़ी की मां चोद दूंगा.”


यही सब अंट-शंट बकते हुए चाचा मेरी मॉम की चुदाई किए जा रहे थे.


‘हाय मेरी नीतू भाभी, अब मैं तेरी चूत का बाजा बजाऊंगा … आह उखाड़ लूंगा तेरी झांटें आह अब तू बच कर नहीं जा सकती!’

मम्मी- आह हां मुझे चोदो मेरे राजा इतना बढ़िया है तेरा लंड … आह बड़ा मज़ा दे रहा है … हाय रे आह फाड़ डालो … मेरी चूत चोद डालो मेरी मां का भोसड़ा हाय मैं सातवें आसामान में हूँ. तू साला बड़ा हरामी है … बहुत दिन के बाद मिला है मादरचोद … अपना लंड पूरा पेल यार … अन्दर तक घुसेड़ दे लंड … हां हां ऐसे हो चोदे जा … ओओह.


चाचा- हाँ मेरी भाभी तेरे भोसड़े में बहुत गर्मी है … सारी गर्मी शांत कर दूंगा … आह.

मम्मी- आह्ह … अहह और जोर से चोद आह्ह … घुसेड़ दे पूरा लंड मेरी चूत में … फाड़ दे अपनी रंडी भाभी की चूत को आज फाड़ दे मेरे राजा मेरी चूत … अपनी बहनचोदी भाभी जान की चूत चोद चोद कर हलवा बना दो. फाड़ डालो इसकी चूत … जैसे तुम मेरी देवरानी का भोसड़ा फाड़ते हो!


चाचा अकड़ने लगे, मम्मी शायद समझ गईं कि चाचा का रस आने वाला है.

मम्मी ने झट से चाचा को पकड़ा और पूरी ताकत से उन्हें पलट कर बेड पर गिरा दिया.


वे खुद झुक कर उनका लंड मुँह में लेकर तेज तेज चूसने लगीं.

चाचा सिसकारियां भरने लगे और मम्मी का मुँह पकड़ अन्दर दबाने लगे ‘आ आअह आआअह मेरी रंडी चूस ले!’


वे दोनों साथ में झड़ गए और दोनों ही बड़ी तेज तेज हांफ रहे थे.


फिर चाचा का मन मम्मी की बड़ी गांड चोदने का कर रहा था.

मम्मी- आज तुम मेरी गांड को छोड़ दो … गांड चुदाई कभी दूसरी बार कर लेना … आज रहने दो!


मॉम पता नहीं कितनी बार झड़ गई थीं, पूरा बेड भीगा हुआ था.

उन दोनों की चुदाई देखते देखते मेरा पानी कब निकल गया, कुछ होश ही न रहा.


मैं वहां से उठ कर घूमने निकल गया.

बाहर जाकर मैंने एक सिगरेट पी और अपने दोस्तों से मिला.


मुझे वापस आते आते शाम के 6 बज गए थे.

मैं आते ही मम्मी की जिधर चुदाई हुई थी, उस वाले कमरे में चला गया.


वहां सारा सामान बिखरा हुआ था.


घर में सिर्फ मम्मी थीं, वे मुझे आया देख कर कमरे में आ गईं और सब सही करने लगीं.


मैंने पूछा- ये सब कैसे हुआ मम्मी?

मम्मी- आंधी आई हुई थी, इसलिए ऐसा हो गया.


फिर मैं बिस्तर पर जाकर सूंघने लगा.


यह देख कर मम्मी की तो हवा गायब हो गयी थी, फिर वे अचानक से मुस्कराने लगी.

मैं समझ गया और चला गया.


फिर मैंने कैसे उनकी चुदाई की, वह अगली सेक्स कहानी में बताऊंगा.

यह देवर भाभी चुदाई कहानी कैसी लगी आपको?

Recent Posts

See All

Comments

Rated 0 out of 5 stars.
No ratings yet

Add a rating
kamvasna sex stories & sex videos

कामवासना एक नोट फॉर प्रॉफिट, सम्पूर्ण मुफ्त और ऐड फ्री वेबसाइट है।​हमारा उद्देश्य सिर्फ़ फ्री में मनोरंजन देना और बेहतर कम्युनिटी बनाना है।  

Kamvasna is the best and only ad free website for Desi Entertainment. Our aim is to provide free entertainment and make better Kamvasna Community

bottom of page