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दो लंड से एक साथ चुदाई का मज़ा - Hindi Sex Stories

हैलो फ्रेंड्स, मेरा नाम स्वीटी है और मैं कोलकाता से हूं.

मेरी फैमिली में मेरे मम्मी, पापा और मेरा बड़ा भाई है, जो मुझसे 4 साल बड़ा है.


यह 18 साल की लड़की की चुदाई कहानी मेरे कॉलेज टाइम की है, जब मैं फर्स्ट ईयर में थी.

मुझे सेक्स करना और सेक्स स्टोरीज पढ़ना बहुत पसंद है.


मेरा रंग एकदम दूध सा गोरा है.

कॉलेज के समय मेरा फिगर 34-30-38 था, लेकिन अब यह 38-32-42 हो चुका है.


एक दिन मेरे मम्मी-पापा दोनों लोग तीन दिनों के लिए शहर से बाहर गए थे.

घर में सिर्फ मेरा बड़ा भाई और मैं ही थे.


भाई ने पार्टी करने के लिए अपने दोस्तों को बुला लिया.


मैं अकेली क्या करती, इसलिए मैं अपनी कॉलेज की सहेली के साथ शॉपिंग करने चली गई और उसके घर पर काफी देर तक रही.

बातों-बातों में उसने मुझे बताया कि कैसे पिछले रात उसके बॉयफ्रेंड ने छत के रास्ते उसके कमरे में आकर उसे चोदा.


उसने अपने लंड चूसने वाली तस्वीरें भी मुझे दिखाईं.


यह सब देखकर मेरा मन भी चुदने को करने लगा.

उसकी बातें सुनकर मेरी चूत ऐसी गीली होने लगी, मानो अभी नदी बहने लगेगी.


फिर हमने कुछ देर तक सेक्स की बातें की और मैं घर आ गई.


घर पहुंचते ही मैंने देखा कि मेरे भाई के दो दोस्त पहले से ही बैठे हुए थे.


मेरे अन्दर आते ही उन्होंने मुझे ऊपर से नीचे तक घूरा.


मैं अपने कमरे में गई और कपड़े उतारते समय अपने बूब्स और चूत को सहलाने लगी.


थोड़ी देर में मुझमें चूत में लंड लेने का भूत सवार हो गया.

मैंने सेक्सी कपड़े पहन लिए.


दरअसल मैं घर में थोड़े छोटे और खुले कपड़े पहनती हूं.

मैंने एक सफेद टी-शर्ट पहनी, जिसमें मेरी ब्रा की आउटलाइन साफ नजर आ रही थी और एक चुस्त पिंक शॉर्ट्स पहनी, जो मेरी चूत से सिर्फ 4 इंच नीचे तक थी.


उसमें मेरी चूत की फांकों का जोड़ और उसकी फूली हुई पुत्तियों का उभार आसानी से दिख रहा था.


मैं अपने कमरे में बैठी थी और जानबूझ कर 3 बार फ्रिज से आइसक्रीम व पानी लेने गई.

आखिरी बार में भाई के दोस्त ने मुझे टोका और साथ बैठने को कहा.


मेरा भाई भी बोला- क्या रूम में बोर हो रही है? आ जा, थोड़ी देर के लिए!

मैंने उन्हें जॉइन कर लिया.


उन्होंने मुझे बियर ऑफर की लेकिन मैंने मना कर दिया.


भाई के दोनों दोस्त स्मार्ट थे.


उन्हें देखकर मेरे मन में शैतानी चलने लगी.

वे दोनों भी मेरी जांघों और बूब्स को चोर नजरों से देखकर आंखें सेंकने लगे.


मुझे भी खुराफात सूझी और मैंने अपने पैर और खोल दिए, ताकि मेरी चूत का शेप और साफ दिखे.


इतने में दोनों के जीन्स के अन्दर उनके लंड टाइट हो गए.

उनके तने लंड साफ संकेत दे रहे थे कि उनकी मेरे लिए क्या नीयत है.


मैं समझ गई कि मुझे ज्यादा मेहनत नहीं करनी पड़ेगी.


मैं थोड़ी देर तक उन्हें अपने जिस्म का दीदार करवाती रही.

तभी भाई वॉशरूम चला गया और जाते जाते बोला- मैं आता हूं, टंकी खाली करके!


भाई के जाते ही मैंने यश की तरफ देखकर अपने होंठों को दांतों में दबाया और उसे पीछे आने का इशारा किया.


फिर मैं उठकर अपने कमरे में चली गई.

मेरे पीछे यश और राज दोनों आ गए.


मेरे कुछ कहने से पहले ही यश ने मुझे दीवार से सटा दिया और शॉर्ट्स के ऊपर से मेरी चूत पर हाथ रख दिया.


मैंने प्यार से थप्पड़ मारकर उसे धक्का दे दिया और कहा- पहले भैया को इतनी ज्यादा पिलाओ कि उन्हें होश न रहे … फिर मेरे पास आ जाना!

यह कह कर मैंने उन दोनों के लंड को छू लिया.


वे दोनों वासना से भर कर बाहर चले गए और मैं अपने कमरे का दरवाजा बंद करके बेड पर बैठ कर फोन चलाने लगी.


मैं उन दोनों के लंड को इमैजिन करने लगी.


करीब एक घंटा के बाद मेरे दरवाजे पर नॉक हुआ.

मैं समझ गई कि मेरी चुदाई का वक्त आ गया.


दरवाजा खोलते ही यश बोला- डार्लिंग, तुम्हारा भाई तो गहरी नींद में सो गया है.


मैं कोई रिस्क नहीं लेना चाहती थी.

मैं हॉल में गई, भाई को चेक किया और उसे उठाने की कोशिश की.


वह नहीं उठा … इससे मुझे यकीन हो गया कि अब मैं खुलकर चुदाई करवा सकती हूं.


इसी बीच राज और यश दोनों मुझ पर टूट पड़े.


यश ने मेरे होंठों पर किस करना शुरू कर दिया और राज ने अपना हाथ मेरी शॉर्ट्स में डालकर मेरी चिकनी चूत को छूना शुरू किया.


उफ्फ … वह फीलिंग ही अलग थी.

दोनों के हाथ मेरे बदन पर अठखेलियां करने लगे.


कभी वे मेरी गांड पकड़कर दबाते, तो कभी मेरे बूब्स को जोर से दबोच लेते.


मैं भी दोनों के तने हुए लंड पकड़ कर उनका साथ देने लगी.


यश ने पीछे से मेरी टी-शर्ट उतार दी और मेरे बूब्स पकड़ कर मेरी पीठ को चाटने और चूमने लगा.


उसने अपनी उंगलियों के बीच मेरे निप्पलों को दबा लिया और मेरी पीठ पर लगातार चूमता रहा.

उसी वक्त राज नीचे बैठ गया और मेरी शॉर्ट्स के ऊपर से ही मेरी चूत पर मुँह लगाने लगा.


मेरी चूत हल्की-हल्की गीली हो चुकी थी.

राज ने कहा- डार्लिंग, तेरी चूत की खुशबू मेरे लौड़े में बिजली जगा रही है! 18 साल की लड़की की चुदाई करने में बहुत मजा आयेगा.


मैंने उसका सिर अपनी चूत की तरफ खींचते हुए कहा- बहनचोद, पहले चाटकर और गीली कर भोसड़ी के … फिर पूरी रात चोद लेना!


राज ने मेरी शॉर्ट्स और चड्डी उतारते हुए कहा- साली बहन की लौड़ी … अब पैर खोल रंडी … तुझे अब लंड का सिनेमा दिखाता हूँ!


मैंने मुस्कुराते हुए पैर खोल दिए.

राज ने मेरी चूत की दरार में ऊपर से नीचे तक दो बार उंगली घुमाई, फिर नीचे बैठकर मेरी गांड पकड़ कर मेरी चूत में मुँह लगाकर चाटने लगा.


उसकी जीभ के टच करते ही मेरी चूत कसमसा उठी और मैं भी अपनी चूत हिलाकर राज से चटवाने लगी.

उफ्फ … उसकी वह चूत चटाई.

ऐसा लग रहा था मानो राज ने पहली बार चूत चाटी हो.


वह भूखे कुत्ते की तरह मेरी चूत और गांड के छेद में अपनी जीभ डाल रहा था.


इसी दौरान यश मेरी गर्दन पर चूमे जा रहा था और मेरे बूब्स उसके हाथों में ही थे.

वह अपने दोनों हाथ के अंगूठों को मेरे दोनों निप्पलों पर घुमाने लगा और जोर-जोर से दबाने लगा.


मैं आंखें बंद करके मज़ा ले रही थी.

मेरी सेक्सी आवाजें निकलने लगीं-आह … अम्म्म.


यश सामने आया और मेरे निप्पलों पर थप्पड़ मारते हुए बोला- आज इसका सारा दूध पी जाऊंगा!

फिर वह मेरे एक दूध को दबाते हुए दूसरे दूध को चूसने लगा.


मैं एक हाथ से यश के सिर को अपने बूब्स चूसने में मदद कर रही थी और मेरा दूसरा हाथ राज के सिर को अपनी चूत पर जोर से दबाने लगा था.

फिर कुछ पलों में दोनों नंगे हो गए और मुझे घुटनों पर बिठा दिया. दोनों ने एक साथ अपने लंड मेरे मुँह के सामने रख दिए.


उनके मोटे और बड़े लंड देखकर मेरी चूत से पानी टपकने लगा.

राज ने कहा- चूस मेरी छम्मक छल्लो. चूस मेरा और यश का लंड … फिर तेरी चूत की चटनी बनने की बारी आएगी!


मैं पैर पीछे करके जमीन पर बैठ गई.

यश और राज के तने हुए छह छह इंच के लौड़ों को देखकर बहुत मज़ा आ रहा था.


मैंने दोनों हाथों से उनके लौड़ों को पकड़ा और सहलाने लगी.

यश ने कहा- अब चूस भी ले बहन की लौड़ी … वर्ना मैं जबरदस्ती तेरे मुँह में डाल दूँगा!


उनके लौड़ों को पकड़ते ही मेरी चूत से पानी टपकने लगा और बूंदें जमीन पर गिरने लगीं.


मैंने जीभ से बारी बारी से दोनों के लंड के पिंक टोपे चाटने शुरू किए.

दोनों ऊपर की ओर देखकर और आह आह करके अपने लौड़े चुसवाने का मजा लेने लगे.


यश का लौड़ा मेरे मुँह में गया और राज के लौड़े को मैं हल्के हाथों से हिलाने लगी.

फिर यश का लौड़ा बाहर निकाल कर राज का लौड़ा चूसने लगी.


ऐसे बारी-बारी से मैं दोनों के लौड़े लेने लगी.

उनके ब्राउन कलर के लौड़े मुँह में और हार्ड और बड़े महसूस होने लगे.


मैं अपनी बेशर्मी पर आ गई और पूरा लंड मुँह में गले तक चूसने लगी. साथ ही उनके बॉल्स को सहलाने लगी.


कभी मैं यश का लौड़ा मुँह में लेती और तीन-चार चुप्पे लगाकर थूक से सना लौड़ा निकाल कर राज का चूसने लगती.


राज बहुत हरामी था.

उसने यश से कहा- ऐसे मज़ा नहीं आ रहा. चल, प्रियंका को दोनों का लौड़ा एक साथ चुसाते हैं!


फिर दोनों ने मेरे मुँह में अपने लौड़े डाल दिए … जो मुश्किल से दो इंच भी गए होंगे.

इनके मोटे लंड मेरे मुँह में एक साथ डालने से मुझे सांस लेना बंद हो गया था.


फिर उन दोनों ने अपने लौड़े मेरे मुँह से बाहर निकाले.

मेरी लार और उनके लंड का पानी लंड के साथ निकल कर मेरे बूब्स पर गिर गया.


मैंने कहा- मादरचोदो, मार दोगे क्या! पूरी रात पड़ी है, आराम से चोद लेना … अभी तो सही से करो!

फिर मैं यश के लौड़े का स्वाद लेने लगी.


तब तक राज अपना लंड पकड़ कर हिलाते हुए बोला- रानी, तेरी चूत फाड़ दूँगा आ जा!


मैंने उन दोनों के लंड बहुत देर तक चूसे.

मेरी चूत भी काफी गीली हो गई थी.

चूत का पानी जमीन पर गिरने लगा था.


मेरी चूत अब लंड लेने के लिए पूरी तरह तैयार थी.


जैसे ही मैं खड़ी हुई, यश ने मुझे पीछे से पकड़ लिया.

न जाने कैसे उसने मेरी जांघों पर पकड़ बनाई और मुझे गोद में उठा लिया.

मैं भी राज के कंधों को पकड़ कर संतुलन बनाने की कोशिश करने लगी.


राज ने अपने लौड़े को अपने हाथ से पकड़ा और मेरी चूत में जोर लगा कर पेल दिया.

उसने अपना 6 इंच का लौड़ा एक ही बार में मेरी नाजुक चूत में डाल दिया था.


मेरी बहुत जोर की चीख निकली, जिसमें मुझे मजा और दर्द दोनों एक साथ मिल गए थे.


मुझे उसका लौड़ा अपनी चूत के अन्दर जाता हुआ महसूस हो रहा था और मेरे मुँह से ‘आह मर गई उफ़्फ़ … उ मां आह’ आवाज निकलने लगी.


राज मेरी चुत में लंड ठाँसता हुआ बोला- आह मजा आ रहा है न डार्लिंग चूत में लौड़ा लेने में?

मैं कसमसाती हुई बोली- आह हां मादरचोद आ रहा मजा … आह चोदो मुझे आज तुम दोनों … मेरी फाड़ दो आह.


यह सुनते ही राज ने मेरी चुदाई स्टार्ट कर दी.


वह मेरी चूत में लौड़ा अन्दर बाहर करने लगा.

आठ-दस धक्कों में ही मेरी मदहोशी भरी सिसकारियां निकलने लगीं ‘आह्ह …. उई उम्म यसस्स बेबी … ऐसे ही चोदो … आहह आहह …’


यश मुझे गोद में उठाये हुए था और राज ने झटके तेज कर दिए थे, जिससे मेरी गांड यश के लौड़े से टकराने लगी थी.

मैं चुदाई की मस्ती में आ चुकी थी.


यश भी हरामी निकला.

उस बहन के लौड़े ने अपने लौड़े पर थूक लगाया और राज को इशारा करते हुए रुकने को कहा.


जैसे ही मेरी गांड उसके लौड़े के पास आई. उसने मेरी गांड में अपना लौड़ा फंसा दिया.


मुझे दर्द तो हुआ मगर ऐसी वाइल्ड चुदाई हो रही थी तो मज़ा आने लगा.

मेरे मुँह से और ज्यादा तेज आवाज होने लगी.


यश में झट से मेरा मुँह दबाया और दोनों अपनी अपनी तरफ से जोर लगाते हुए लंड पेलने लगे.


जब यश धक्का मारता तो यश के साथ साथ राज का लंड भी मेरी चूत में और गहराई में चला जाता और जब राज धक्का देता तो यश का लंड मेरी गांड की दीवारों को फाड़ता हुआ अन्दर घुस जाता.


वे दोनों मुझे टेनिस की बॉल की तरह धक्के मार मार कर एक दूसरे की तरफ धकेलने में लगे थे और मैं जोश में चूर अपनी चुदाई का मज़ा लेने लगी थी.


मेरी मादक सिसकारियां और मेरी आहें बढ़ गयी थीं.

मैं लगातार ‘आह आह आह चोदो मुझे और चोदो आहह …’ की आवाज निकाल रही थी.


कुछ ही मिनट में ही दोनों ने नीचे उतारा और यसह बोला- अब बेड पर चल.

राज मुझे गोद में लिए हुए मेरे बेड पर ले गया.


उधर यश ने कहा- घोड़ी बन जा डार्लिंग!


मैं भी मुस्कुराती हुई घोड़ी बन गयी और गांड मराने के लिए अपनी कमर झुका ली.

यश मेरे पीछे आ गया और मेरी कमर पकड़ कर अपना लौड़े पर थूक लगा कर पीछे से मेरी चूत में लंड पेल कर चोदने लगा.


उसके झटकों से मेरे बूब्स हवा में हिलने लगे.


मैं दोनों हाथों से बेडशीट पकड़ कर अपनी गांड मटका कर चुदवाने में यश की मदद करने लगी.


राज मेरे बूब्स के नीचे आ गया और मेरे दूध चूसने लगा.


यश मेरी गांड पर थपाक थपाक करके थप्पड़ मारने लगा, जिसमें मैं हर थप्पड़ पर आहह आह हहह करने लगती.


मुझे यश का लौड़ा अपनी चूत में लेने में बहुत मज़ा आ रहा था.

राज भी अपने मुँह में मेरे दूध को भर कर मज़े से खींचते हुए चूसने लगा और दांतों से मेरे निप्पल को चबाने लगा.


कुछ देर बाद वह मेरे मुँह के सामने अपना लौड़ा ले आया.


मैं भी बेशर्म रांड सी होकर उसका लौड़ा मुँह में लेने लगी.

मैं उन दोनों के लंड अपनी चूत और मुँह में ले लेकर चुदती रही.


फिर यश ने राज से कहा- राज, अब तू डाल दे अपना लौड़ा अपनी इस माल लौंडिया की चूत में!

उसने झट से मेरी चुत में नीचे से ही अपना लंड मेरी चुत में ठेल दिया और मैं राज के लौड़े पर अपनी चुत फंसा कर मजा लेने लगी.


तभी ऊपर से यश ने अपना लंड मेरी गांड में भर दिया.


उन दोनों युवा लड़कों की गठीली बॉडी के बीच में मेरा जिस्म पिस रहा था.


तभी राज का लंड मेरी चुत से निकल गया.

मैंने राज के कंधों को पकड़ कर बैलेंस बनाने की कोशिश शुरू की.


राज ने अपने लौड़े को पकड़ा और मेरी चूत में सीधा जोर लगाकर पेल दिया.

एक ही बार में उसने अपना 6 इंच पेल दिया.


पीछे से यश गांड में लगा हुआ था.


नीचे से राज अपने मुँह में मेरे एक दूध को भरकर मजे से चूसने लगा.


यश ने धक्कों की स्पीड तेज की और 20-22 धक्के मारकर उसने अपनी लंड की पिचकारी से अपना माल मेरी गांड और पीठ पर उड़ेल दिया.

अब राज ने मुझे अपने ऊपर खींच लिया.


वह बोला- आ जा जानेमन, तुझे अपने रॉकेट की सैर करवाता हूँ.


मैं भी उसके लौड़े को चूत में सैट करके उछलने लगी.

उसके लंड और मेरी चूत के पानी से अब रूम में फच-फच की आवाज होने लगी थी.


मैं भी तेजी से उछल-उछल कर राज का लौड़ा अपनी चूत में अन्दर तक लेने लगी.


राज ने मेरे बूब्स पकड़े और दबाते-दबाते वह भी नीचे से चोदने लगा.


मैं थक कर रुक गई और राज पर लेट गई.

राज ने मेरी गांड पकड़ कर हल्का-सा मुझे उठाया और झटकों की रेल बना दी.


उसका एक झटका पूरा नहीं होता और दूसरा झट से दुबारा मेरी चूत पर चोट कर देता.

मैं बहुत कामुक होकर सेक्सी आवाजें निकालने लगी.


राज भी अपने चरम पर पहुंच चुका था. वह मेरे गले में चूमते हुए लगातार चोदने लगा.

इस बीच मेरी चूत दो बार पानी छोड़ चुकी थी.


फिर करीब 30-40 तेज झटकों के बाद राज ने अपनी बंदूक मेरी चूत के अन्दर ही खाली कर दी और मेरी चूत ने भी पानी छोड़ दिया.


जब मैं उठी, तब मेरी चूत की दरार से राज के माल से सना हुआ लंड और ढेर सारा माल निकला, जो राज के ऊपर ही गिरा.


मैं चूत धोकर वापस आई और हम तीनों एक साथ लेट गए.

मैं बीच में लेटी थी.


वैसे ही दोनों ने फिर से मेरे बूब्स चूसने शुरू किए और दोनों के हाथ मेरी चूत में उंगली करने लगे.


हमने फिर से चुदाई की और इस बार दोनों ने अपने लंड से माल मेरे चेहरे और बूब्स पर निकाला.

मुझे उनके लौड़े की मलाई में नहाकर बहुत मजा आया.


इसके बाद दोनों भाई अपने रूम में जाकर दोबारा शराब पीने लगे और फिर सो गए.

मैं भी नहाकर सो गई.


कसम से, इतना मजा आया कि क्या ही बताऊं.


इसके बाद जब भी मेरा मन होता, मैं दोनों से उनकी कार में या कभी-कभी होटल में खूब चुदवा लेती.

उन दोनों के लौड़े मैंने दो साल में कम से कम 50 से ज्यादा बार लिए होंगे.


इनके अलावा भी मेरे कॉलेज में बॉयफ्रेंड बने, जिनसे मैंने कॉलेज के बाथरूम में या कभी-कभी कॉलेज की छत पर खूब सेक्स किया.


आपको 18 साल की लड़की की चुदाई कैसी लगी जरूर बताना मुझे आपके कमेंट्स का इंतज़ार रहेगा.

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