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हाउसवाइफ से बनी रण्डी

मैं हया हूँ, मैं 40 वर्षीया, 38 36 38 की फिगर और मांसल बदन वाली एक भरपूर जवान औरत हूं।मेरे शौहर और मैं सैक्स का, कामक्रीड़ा का भरपूर मज़ा लेते हैं, नए नए लोगों के साथ, नए नए कामुक खेलों ने हमारे जीवन को आनन्द से भर रखा है।

मुझे नहीं पता नहीं कि हर कामुक औरत की ऐसी इच्छा होती है या नहीं … लेकिन मेरी बहुत दिली इच्छा थी कि एक दिन मैं किसी गैर मर्द से रण्डी बनकर चुदवाऊं।मैंने अपनी इस निराली हसरत का इज़हार अपने शौहर से किया।

मेरे शौहर तो वास्तव में बड़े अनोखे हैं, उन्हें मेरी हर हसरत पूरी करने में एक अजीब सा आनन्द मिलता है।उनने मेरी इस हसरत को भी सच करने की ठान ली।

मैं अपने शौहर के बारे में बता दूं, उनका नाम अख़लाक़ है.वे 42 वर्षीय, 5 फीट 10 इंच के बहुत ज्यादा रसिक व्यक्ति हैं।

उन्हें चुदाई के अलावा और कोई शौक नहीं है।वे न सिर्फ बढ़िया चुदाई करते हैं बल्कि मेरी हर तरह की ख्वाहिश पूरी करते हैं।

उनका लंड करीब साढ़े छः इंच लम्बा और तीन इंच मोटा है।अपने इस शानदार लंड से उन्होंने मुझे हजारों बार झड़ा के तृप्त कर रखा है यानि वो चोदन क्रिया में निपुण हैं।

सैक्स के किसी भी खेल के लिए पूछो तो … ना तो वे कभी कहते ही नहीं!उनका एक ही जवाब होता है- जरूर ट्राई करेंगे।

एक बार जब वो पहली बार मेरी गांड मारने वाले थे, तब उन्होंने लंड का सुपारा घुसेड़ने की कोशिश की थी तो दर्द के मारे मैं बिदक गई.मैंने कहा- इतना मोटा लंड तुम्हारी गांड में घुसे तो पता चले!तो वे हँस के बोले- हया, मौका आयेगा तो नीग्रो के जैसे लंबे-मोटे लंड से अपनी गांड मरवा के भी दिखा दूंगा।

मेरी किसी भी तमन्ना के लिए उन्होंने कभी मना नहीं किया।जीवन में मेरे पास हर तरह की सुख सुविधा मौजूद है, किसी चीज की कमी नहीं है।

जब उन्हें मेरी इस रण्डी बनाने की विचित्र तमन्ना के बारे में पता चला तो उन्होंने इसके लिए भी मना नहीं किया, बल्कि उनका लंड भी ये ख्वाहिश सुनकर तन्नाने लगा.यह इस बात का सबूत था कि उनको भी मेरा आइडिया बहुत सैक्सी लगा था।

इसे पूरा करने के लिए उन्होंने हमारे शहर से 300 कि मी दूर जयपुर शहर को चुना।

हम शनिवार को दोपहर में वहां पहुंचे, खाना खाकर सो गए क्योंकि पूरी रात तो नए अनजाने, किसी गैर मर्द के लंड के मजे लूटने थे।

शाम 7 बजे करीब अख़लाक़ किसी बार से एक छह फुट के गठीले, कसरती बदन वाले 29-30 साल के लड़के राजेश को लेकर आए.

अख़लाक़ 6 बजे के करीब मेरे लिए ग्राहक ढूँढने निकल गए थे.उन्होंने मुझे बाद में बताया था कि राजेश बार में अकेला बैठा ड्रिंक कर रहा था तो अख़लाक़ खुद भी एक पैग लेकर उसके पास जा के बैठ गए।

मेरे शौहर मार्केटिंग में हैं तो किसी भी व्यक्ति से परिचय करने में एक्सपर्ट हैं.अख़लाक़ ने उससे इंट्रो किया तो पता चला कि वो राजेश है, एक मल्टी नेशनल कंपनी में जॉब करता है.उसकी शादी को चार साल हुए थे और उसकी बीवी डिलिवरी के लिए मायके गई हुई थी.राजेश डेढ़ महीने से बिना चुदाई के तड़प रहा था.

अख़लाक़ को लगा यही राजेश, मेरी गैर मर्द के लंड की प्यासी चूत की फैंटेसी पूरी करने के लिए बिलकुल सही रहेगा।

तो अख़लाक़ ने उससे पूछा- यार एक बात तो बताओ, इतना समय हो गया तुम्हारी बीवी को गए … तो फिर रात में तुमको चैन कैसे पड़ता है?वो बोला- सेल्फ सर्विस और क्या करूं?

अख़लाक़ ने पूछा- क्यों कोई स्टेपनी नहीं है?वो बोला- नहीं सर, शादी के बाद अभी तक तो कंट्रोल किया हुआ है.

फिर अख़लाक़ ने पूछा- क्यों, यहां तो अच्छी प्रोफेशनल भी मिल जायेगी?तो उसने कहा- सर, मैंने अब तक या तो गर्लफ्रेंड के साथ सैक्स किया है या फिर किसी भाभी, आंटी के साथ। किसी धंधे वाली औरत के पास अभी तक तो गया नहीं।

इस पर अख़लाक़ ने पूछा- यदि तुम्हें किसी अच्छे घर की ‘कामुक हाउस वाइफ’ मिले तो?वो बोला- साफ साफ बोलो न सर, क्या कहना चाह रहे हो?

फिर अख़लाक़ ने कहा- देखो यार, मेरी बीवी का नाम हया है, हम ओपन माइंड कपल हैं, स्वैपिंग, थ्रीसम, फोरसम, हर तरह के सैक्स को खुल के एंजॉय करते हैं।उसने पूछा- क्या तुम मुझे अपनी वाइफ हया को फक करने की पेशकश कर रहे हो?अख़लाक़ ने कहा- हां, यूं ही समझो, बहुत आनन्द आएगा।

फिर राजेश ने पूछा- आप लोग कुछ चार्ज भी करेंगे या मुफ्त में आपकी बीवी चोदने को मिलेगी?तो अख़लाक़ को मेरे रण्डी बन के चुदने में एक्स्ट्रा किक लगने का ध्यान आया तो उनने बोला- अरे यार, मेरी बीवी कोई धंधे वाली औरत नहीं है, न हमारे पास रुपए पैसे की कमी है। उसे बस एक बार एक अजनबी मर्द से रण्डी की तरह चुद के एंजॉय करना है, इसलिए वो चार्ज तो करेगी लेकिन बहुत कम!

इस पर उसने कहा- लेकिन यार, मैं बहुत भूखा हूं, मजा पूरा आना चाहिए!अख़लाक़ ने कहा- हम दोनों मिलकर तुमको मस्त कर देंगे, यह हमारा वादा है।

फिर राजेश ने अख़लाक़ से पूछा- यार, तुम मेरे साथ मजाक तो नहीं कर रहे? क्या मैं तुम्हारी वाइफ से बात कर सकता हूं?अख़लाक़ ने कहा- मैं हया से पूछ कर बताता हूं.

तब अख़लाक़ ने थोड़ा अलग होकर मुझसे पूछा- एक लड़का मिला है जो तुझसे बात करना चाहता है।मेरा रण्डीपन मेरे दिमाग पे इतना हावी था कि मेरी चूत अपने ग्राहक से बात करने के नाम से रिसने लगी।

मैंने कहा- हां, बात करवाओ।अख़लाक़ ने अपना फोन राजेश को दिया.

उसने अख़लाक़ को कहा- मैं थोड़ा अकेले में बात करना चाहता हूं.तो अख़लाक़ थोड़ा दूर चले गए।

राजेश ने मुझ से पूछा- हया जी, आप एक अच्छे घर की होकर मेरे साथ रण्डी की तरह एंजॉय करोगी, तो मुझे छूट कितनी होगी?मैंने कहा- 100%, तुम जो भी चाहो करना, जैसे चाहो वैसा करना, जितनी देर चाहो, उतनी देर करना!

उसने कहा- ओके … और तुम्हारी डिमांड क्या है?मैंने कहा- मुझे ज्यादा नहीं केवल दस हजार दे देना, दस हजार में पूरी रात के लिए ये रण्डी तुम्हारी! तुम भरपूर मस्ती करना, जी भर के आनन्द लूटना, रौंद डालना मेरी जवानी को। मुझे मेरा रण्डी बन के चुदने का आनन्द चाहिए बस!

इस पर वो बोला- मुझे तुम से मिलना मंजूर है। लेकिन मैं जो चाहूं वो करूं? जैसे चाहूं वैसे करूं? और जितनी देर चाहूं उतनी देर करूं?मैंने कहा- बिल्कुल सही, आज की रात तुम्हारी जिंदगी की यादगार रात होगी।

उसके बाद वो अख़लाक़ के साथ होटल के हमारे रूम में आया.अख़लाक़ ने हम दोनों का परिचय करवाया।

हम तीनों ने दो दो पैग व्हिस्की के लिए!

पीने के बाद अख़लाक़ ने कहा- मैं कमरे में रुक सकता हूं या तुम अकेले एंजॉय करोगे?वो बोला- रुको न यार, यह पहला मौका होगा जब मैं किसी मर्द की बीवी को, उसी के शौहर के सामने चोदूंगा। तुम्हारे सामने तुम्हारी लम्पट बीवी को एक रण्डी की तरह चोदने में अधिक मजे आयेंगे।

मैंने साड़ी पहन रखी थी.राजेश ने चीरहरण से शुरू किया.

मैंने भी उसकी जैकेट, टी शर्ट उतारी।फिर उसने मेरा ब्लाउज और ब्रा भी उतार फैंकी.

जब उसने मेरे कोमल, मुलायम स्तनों पर हाथ फेरा तो मेरे बदन में वासना की लहरें उठने लगी।

उसने मेरे नंगे बदन से अपना बदन चिपका लिया और मेरे होंठ चूमने लगा.फिर वह अपने दोनों हाथों से मेरे कूल्हे दबाने लगा.वासना के वशीभूत मेरा हाथ उसके लंड पर चला गया.वो तन्नाने की प्रक्रिया में था.

तभी राजेश पलंग के किनारे बैठ गया.

मैंने उसे कहा- तुम दोनों मर्द मेरे दोनों बोबे एक साथ चूसो!उसको भी यह आइडिया पसंद आया, उसने अख़लाक़ को बुलाया.

अख़लाक़ भी इस बीच आधे नंगे हो गए थे.

फिर दोनों ने एक साथ मेरे बोबे चूसे और मेरी चूत पानी छोड़ने लगी.

करीब पांच मिनट तक मेरे बोबे चूसने के बाद राजेश खड़ा हुआ, उसने अपनी जींस और अंडरवियर एक साथ उतारी और मेरा पेटीकोट पैंटी सहित खींच के उतार दिया।

मैं एक रात की रण्डी एक गैर मर्द के सामने पूरी नंगी खड़ी थी.

अख़लाक़ भी पूरे नंगे हो गए थे.राजेश ने अख़लाक़ को पूरा नंगा देखा तो बोला- अख़लाक़, अब तुम सोफे पर बैठ कर लाइव ब्लू फिल्म देखो. तुम्हारी ये कामुक हाउसवाइफ अब से कुछ घंटों के लिए मेरी रण्डी है रण्डी!

अख़लाक़ हंसते हुए जाकर सोफे पर बैठकर अपने लंड को सहलाने लगे.

राजेश ने मेरे कंधों पर दबाव डालकर मुझे झुकाया और अपना लंड मेरे मुंह के सामने ले आया।

यार … यह पहला लंड था जो अख़लाक़ के लंड से करीब एक इंच अधिक यानि साढ़े सात इंच लंबा था और मोटा भी थोड़ा ज्यादा ही था।

मैंने राजेश के चिकने, सांवले, सलौने, सुहाने लंड को कुछ पल निहारा.उसने शायद आज ही झांटें साफ करी थी, उसका लंड बहुत ही मनमोहक लग रहा था।

मैंने उसके चमकदार सुर्ख लाल सुपारे को चूमा, हाथों से सहलाया फिर मैंने चूसना शुरू किया.

वो बोला- हया जान, सबसे पहले तेरे मुंह में ही सारा वीर्य निकालूंगा।मैंने इशारा कर के कहा- ओके, निकालो।

उसने मेरे मुंह को चोदना शुरू किया.मैंने कई बार अपनी जुबान उसके लंड के चारों ओर घुमाई.उसके मुंह से मस्ती की सिसकारियां निकल रही थीं।

उसने दो तीन मिनट रुक रुक के अपना लंड मेरे मुंह के अंदर बाहर किया.उसके लंड में वीर्य हिलोरें मार रहा था.

फिर एक तूफान सा उठा और फिर उसके लंड ने पिचकारी छोड़ी, ढेर सारा वीर्य उछल उछल के मेरे हलक में जा रहा था.मैं हर कतरे को निगलती रही.

लेकिन आखिर में एक दो छोटे छोटे कतरे मैंने मुंह में रोक लिए।मुझे ध्यान आया कि अख़लाक़ कहते थे कि मेरा लंड तन्नाया हुआ हो तो मैं तेरी चूत से किसी गैर मर्द का वीर्य भी चाट सकता हूं.मैंने अख़लाक़ को आजमाने की सोची.

मैं, जब राजेश का लंड सिकुड़ के मुंह से निकल गया, तब अख़लाक़ की ओर बढ़ी और उनके होठों से होंठ लगाकर बचा खुचा वीर्य अख़लाक़ के मुंह में स्थानांतरित कर दिया।

राजेश ये देखकर हैरानी से ताली बजाने लगा- वाह यार, ये हुई न बात!

अख़लाक़ ने सारा वीर्य गटक लिया और राजेश से बोला- मैंने कहा था न हम हर तरह का सैक्स एंजॉय करते हैं।उसके बाद राजेश बिस्तर पर पस्त होकर बैठ गया।उसके चेहरे और बदन पर पसीने की बूंदें चमक रही थीं।

थोड़ी देर वो इस मीठी थकान का आनन्द लेता रहा।

उसके बाद हमने थोड़ा नाश्ता किया।

मेरी चूत तो मेरे ग्राहक के लंड से चुदने के लिए कुलबुला रही थी.इसके लिए मैं राजेश के नंगे बदन से चिपक कर लेट गई, उसके चौड़े सीने को चूमती रही, उसके निप्पलों को सहलाती रही, हल्के हल्के मसलती रही.मैंने उसकी निप्पलों को चूसा, काटा.

राजेश का लंड अंगड़ाइयां लेने लगा.मैंने झुक के उसका लंड मुंह में ले लिया और अख़लाक़ को इशारा किया.

वो भी उठकर आए और राजेश के आंड चाटने लगे.राजेश के लंड में सनसनी होने लगी.

आखिर एक औरत और एक मर्द एक साथ उसका लंड चूस रहे थे।उसका लंड फिर से तन्नाने लग गया।

मैंने राजेश को कहा- अब अपने इस माँसल लंड से मुझे कस के चोद दे मेरे राजा! मेरी चूत तेरे इस विशाल लंड को अपने भीतर लेने के लिए मचल रही है, तड़प रही है।

राजेश ने ये सुनते ही मेरे घुटने मोड़ के ऊपर किए और मेरी चूत पे अपने होंठ टिका दिए।उसकी जुबान चूत के चारों ओर से चूत रस को सुड़क रही थी।

मेरी चूत को वो चाटता रहा और चूत पानी छोड़ती रही।

उसके बाद उसने मेरे संवेदनशील क्लिटोरिस को जुबान की नोक से टच किया और हौले हौले जुबान से सहलाने लगा.फिर उसके स्ट्रोक में तेजी आने लगी मेरे बदन में चरम उठने लगा.

ऐसे में चूत के अंदर लंड के करारे रगड़े लग जाएं तो क्या बात है.यह सोच कर मैंने उसे कहा- राजू यार … अब लंड डाल भी दे ना जल्दी से!

राजेश ने अपना लंड चूत पे टिका के दबाते हुए, धीरे धीरे अंदर डाला.

मुझे इतना अच्छा महसूस हो रहा था यार कि पूछ मत, सुंदर चेहरा, बलिष्ठ शरीर, खूबसूरत लंबा-मोटा, मेरा मन पसंद लंड!उसका लंड मेरी चूत में जड़ तक चला गया।

दो मिनट तक वो दबाव डाल के आनन्द लेता रहा.फिर मैं ही बोली- रगड़ न मादरचोद!

इतना सुनना था कि उसका जोश बढ़ा उसने गाली बकते हुए धक्के लगाने शुरू किए- ले मेरी रण्डी, ले भोसड़ी वाली, लंडखोर साली हया … ले!बोलते हुए रुक रुक के दस पंद्रह मिनट तक चोदता रहा।

फिर जब मेरा चरम नजदीक लगने लगा तो मैंने उसे कहा- राजू, अब लगातार रगड़ दे कस के, मेरा बस होने वाला है!

उसने फिर दम लगा के खूब जोर जोर से रगड़े लगाए, उसका डिस्चार्ज होने लगा, चूत से फच फच की आवाज आने लगी.

लेकिन वो रुका नहीं, डिस्चार्ज होने के बाद करीब दस धक्के और लगाए होंगे कि मेरा पूरा शरीर अकड़ा और चूत जोर जोर से फड़कने लगी, मानो मेरा दिल सीने से हट के चूत में चला गया हो।मुझे इस चुदाई ने परम आनन्द से मस्त कर दिया।

मैं बहुत देर तक आंखें बंद करके चरम सुख के इन लम्हों को भोगती रही।

उसके बाद वो एकदम पस्त हो गया, बोला- यार हया, इतना आनन्द आज तक नहीं आया. तुम दोनों वास्तव में गजब की कामुक जोड़ी हो. तुम दोनों से मिलकर जो आनन्द मुझे आज मिला है, मैं उसके बारे में सोच भी नहीं सकता था.

अख़लाक़ को मैंने अब तक डिस्चार्ज करने से रोका हुआ था क्योंकि अभी अख़लाक़ को एक गैर मर्द के वीर्य से भरी मेरी चूत चटवानी थी।मैंने राजेश को बोला- आज का एक और स्पेशल सरप्राइज़ अभी बाकी है.वो जिज्ञासा से बोला- क्या?

मैंने अख़लाक़ को इशारा किया.वो आया और मेरी चूत से सारा वीर्य चाटने और सुड़कने लगा.राजेश हैरत से सारा नज़ारा देख रहा था.

अख़लाक़ ने आज साबित कर दिया कि वह मेरी खुशी के लिए कुछ भी कर सकता है।

उसके बाद अख़लाक़ ने मेरे होंठ चूसे मुझे राजेश के वीर्य और मेरी चूत रस का, मिला जुला खट्टा कसैला स्वाद आया।

राजेश हमारी हरकतें देख देख के मस्त हो रहा था।

थोड़ी देर सुस्ताने के बाद राजेश ने कहा- यार, अब खाना खाते हैं फिर एक बार तेरी गांड और मारूंगा.अख़लाक़ ने कहा- यार, अब मेरे को भी तो एक बार डिस्चार्ज करने दे!

मैंने कहा- देखो यार, मेरी चूत तो अभी अभी तृप्त हुई है और गांड तो राजेश के इस मस्त लौड़े से ही मरवाऊंगी। तुम भी चाहो तो मेरे मुंह में वीर्य निकाल दो!

अख़लाक़ ने तुरंत मेरे मुंह में लंड डाल के चोदना शुरू किया.लंड उफना हुआ तो था ही, एक मिनट भी नहीं लगा और पिचकारी छूट गई।मैंने अख़लाक़ का सारा वीर्य भी गटक लिया।

उसके बाद हमने खाना ऑर्डर किया.

जब तक खाना आया, तब तक हम तीनों साथ में नहाए, एक दूसरे के नंगे और साबुन लगे चिकने बदन का आनन्द लिया.

और खाना खाने के बाद भी हमने काफी देर आराम किया।

रात के करीब बारह बज रहे थे, मैंने और अख़लाक़ ने एक साथ राजेश का लंड चूस के खड़ा किया.

और जब वो तन्ना गया, तब उसने मुझे घोड़ी बना के लंड को तेल से चिकना किया, थोड़ा तेल मेरी गदराई हुई, सुडौल गांड में भी लगाया.

फिर राजेश ने बहुत धीरे से मेरी गांड में लंड का सुपारा घुसेड़ा.मेरी गांड थोड़ा सा चिरमिराई पर उसका लंड मेरे जिस्म के अंदर घुसता चला गया.

फिर वो धीरे धीरे लंड अंदर डालता और जल्दी से बाहर निकालता.वो गांड मारने का भी एक्सपर्ट था, बहुत देर तक उसने पूरे मन से मेरी गांड मारी.

उस को और मेरे को, दोनों को खूब मजे आए।

अख़लाक़ उसके पीछे खड़े होकर उसकी निप्पलें मसल रहे थे, उसके लंड में आनन्द की लहरें उठ रही थीं।

करीब पंद्रह मिनट के आनन्ददायक घर्षण के बाद उसने अपना वीर्य का स्टॉक गांड में खाली कर दिया और जब तक लंड मुरझा नहीं गया, मेरी गांड में अपना लंड, अंदर बाहर करता रहा.हम दोनों को इस रगड़ाई का आनन्द मिलता रहा।

उसके बाद हम तीनों पस्त होकर बिस्तर पर पड़े तो नींद आने लगी.एक ने मेरे स्तनों में मुंह दे रखा था, दूसरे ने गांड में!

फिर हम सो गए।

सुबह हमारी नींद खुली तो मेरी चूत फिर से चुदना चाहती थी.

मैंने राजेश से कहा- अब तुम दोनों एक बार और मेरी चुदाई कर दो।उसने पूछा- एक साथ?मैंने कहा- नहीं, बारी बारी।

उसके बाद हम दोनों से प्रेरणा लेकर राजेश ने अख़लाक़ के साथ 69 की मुद्रा में एक दूसरे का लंड चूसा।

दोनों लंड रात के रेस्ट के बाद तरोताजा तो थे ही, जल्दी कड़क हो गए।

उसके बाद मैं पलंग के किनारे पर लेटी, कभी पैर जमीन पर टिकाती, कभी घुटनों से मोड़ के ऊपर उठाती।

शुरुआत राजेश ने की.राजेश और अख़लाक़ ने धक्के लगाने शुरू किए.

जब राजेश के लंड में सरसराहट होने लगती तो वह हट जाता, उसकी जगह अख़लाक़ धक्के लगाने लगता.ऐसा बहुत देर तक चला, मेरी चूत की जबरदस्त कुटाई हुई।

आखिर में मुझे झड़ाने का श्रेय मिला राजेश को!

मेरी चूत में जैसे अनार छूट रहा था और उसके साथ राजेश के लंड से वीर्य का फव्वारा!

उधर मेरे शौहर अख़लाक़ के लंड से वीर्य की पिचकारी मेरे चेहरे और मेरे स्तनों पर गिर रही थी।

मैं अंदर बाहर से वासना के इस आनन्द-सागर में डूब रही थी।

करीब आधा घंटे सुस्ताने के बाद राजेश उठा, तैयार हुआ.उसने अपने पर्स से दस के बजाए ग्यारह हजार निकाल के मुझे हॉट रंडी सेक्स के लिए दिए।

हम दोनों को थैंक यू के साथ फिर से सेवा का मौका देने का बोला।

हम तीनों एक साथ गले मिले और बस … वो चला गया कामुक और मस्त यादें छोड़ कर!

मेरी रण्डी बन के चुदने की ख्वाहिश पूरी हुई।

वो ग्यारह हजार रुपए, मेरी चूत की पहली कमाई, मुझे किसी खजाने से कम नहीं लग रहे थे।

तो मेरे अनजाने, कामुक, रसिक दोस्तो, कैसी लगी मेरी सहेली की रण्डी बनने की फैंटेसी वाली कामुक गाथा?मुझे ज़रूर बताएं। हॉट रंडी सेक्स कहानी पर कमेंट्स करें.अगली नई कहानी के लिए आपके सैक्सी सुझावों का भी स्वागत है।मेरा ईमेल आईडी है madhuri3987@yahoo.com


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